कौन है रोमियो
जिसको चुन-चुन कर मार रहे हैं
बावर्दी और बेवर्दी देशभक्त?
शेक्सपीयर वाला रोमियो तो
एक अतिसंवेदनशील इंसान था
जान से भी बढ़कर थे
उसके मुहब्बत के जज्बात
यही हाल थी उसकी माशूका की
रोमियो के इश्क में रहती थी पागल सी
नाम था उसका जूलियट
लेकिन खानदानों में दोनों के थी
कटुता विकट
प्रेम के दुश्मनों को हुआ न यह बर्दास्त
बहुत बुरी लगी थी
नफरत के मशीहाओं को भी यह बात
प्यार के खिलाफ फिर साजिश चली
रोमियो को मिला देश निकाला
और जूलियट उसकी याद में
घुटने लगी, ऊबने लगी
मर्दवादी निजाम के पहरे में
लेकिन उनका प्यार था अनूठा
जीना था दोनों को प्यार करते हुए
प्रकृति को गुल्जार करते हुए
मगर नफ़रत प्यार पर भारी पड़ी
मगर प्रेमी दिलों को न जुदा कर सकी
जीते रहे दोनों प्यार के लिए
और जान देदी प्यार में
झुकता है सिर ऐसे अमर प्रेम के सम्मान में
सुनो बावर्दी और बेवर्दी देश भक्तों
बंद करो जूलियट-रोमियो का आखेट
यदि नारी दुर्दशा का है तुम्हें जरा भी खेद
पकड़ो उन देशभक्तों को पहन कर जो भगवा चोला
चलाते हैं गुजरात में सेक्स रैकेट का झमेला
और बंगाल में करते बच्चों की तस्करी
प्यार को रोक नहीं पाएगी
तुम्हारी नफरत की तिजारत
नहीं रोक पाए थे
नफरत के तिजारती तुम्हारे पूर्वज
मुहब्बत रोमियो-जूलियट की
दोनों ने मिलकर लिखा प्यार का अमर तराना
अपनी अपनी जान से कीमत चुका कर
प्यार-मुहब्बत जिंदाबाद
नफरत की तिजारत मुर्दाबाद
रोमियो-जूलियट को सलाम
ऐंटी-रोमियो हो बरबाद
रोमियो-जूलियट जिंदाबाद
(ईमि: 23.03.2017)
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