Monday, April 21, 2014

मोदी विमर्श 24 -- Educated Duffers 5

Ajay Singh Modi is a dangerous fascist, a paid agent of corporate  who has mortgaged Gujarat to imperialist global capital, is an inmhuman murderer rapist and enemy of the people. I have been challemnging the educated duffers suffering from the doisease of Modiyapa, to apply to apply their mind and tell one sentence or act of  this Bajrangi lumpen that proves him to be their God. Suppose one of the victims of the Modi mission of killing and rape was your relative how you you feel? Suppose Bilkis Bano is your sister who along with others were gang raped publicly who survive while others died? What iod=f the woman whose stomach was torn open and fetus thrown into fire  was your mother, how would you feel? What if Ishrat Bano was your daughter or Tu;lsi Prajapati was your uncle who were killed by Modi in cold blood to create hatred and communal polarization.? Apply your conscience and mind before supporting a communal killer, a shred MCP who deserted his wife to stalk a women he is obsessed with with the use of state machinery. I wonder how can anyone with any human sensibility can support  a monster like Modi??

Ajay Singh संघी जब जहालत में अपने दलाली के संस्कारों के अनुरूप मेरी बातों से बौखलाकर जहालत पूर्ण फतवेबाजी और गाली-गलौच करते हैं, बहुत अच्छे लगता हैं. आपसे एक सवाल पूछा था कि इस जाहिल का एक शब्दयकृत्य उधृत करें जिससे यह अडानी-अंबानी के जरखरीद आपका भगवान बन गया जिन्हे इसने गुजरात सौंप दिया और जिनकती बदौलत 500 करोड़ छविनिर्माण कर रबा है, आपने बताया नहीं. आप जैसे बंद दिमाग संघी को इससे ज्यादा वक्त नहीं दे सकता अलविदा. नमो नमो स्वाहा

Neeraj Mishra  फेक आईडी जाहिल फेकू के थेथर  अंधभक्तों की होती है, संघी जाहिल से तुम जैसी ही जहालत की उम्मीद है. इस ईश को काल्पनिक भगवानों के किसी जाहिल चेले की सनद नहीं चाहिए. पढ़ो-लिखो थोड़ा और संघी जहालत से बाहर निकलो, सोचो जब बाल स्वयंसेवक थे तो प्रचारकोंयमुख्य शिक्षकों ने क्या-क्या तुम्हारे अंदर भरा. थोड़ा पढ़ो-लिखो दिमाग का इस्तेमाल करो और संघी जहालत से निकलो. इस ईश के बारे में जानना है तो इलाहाबाद के अहने संघी आकाओरामकिशोर शर्मा, रामाधीन आदि से पता कर लो तो तुम्हें अपनी औकात पता चल जायेगी, मोदियाये नीरज मिश्रा. दिमाग इस्तेमाल के लिए होता है ध्वजप्रणाम के ही निए नहीं, मोदियापे के खतरनाक रोग का इलाज कराओ. यह मिश्रा मोदी जैसे नरपिशाच को इसलिए गाली देता है कि जन्म की जीववऐज्ञानिक दुर्घटना से ऊपर उठकर ब्राह्मण से इन्सान बन चुका है, शुभकामना करता हूं तुम भी ब्राह्मण से इनसान बन जाओ और संघी जहालत से निकल कर विवेकशील बनो. नहीं तो अंबानी के इस जरखरीद फेंकू का एक गुण बताओ जिससे वह तुम्हारा भगवान बन गया है.

नीरज बताओ एक गुण इस हत्या-बलात्कार के आयोजक को जिससे तक्षशिला को बिहार में बताने वाला यह जाहिल फेंकू तुम्हारा भगवान बन गया है या पापा ने दिमाग इस्तेमाल करने से मना किया है या मुख्यशिक्षक ने, जिंदगी भर जाहिल न रहना चाहो तो दिमाग कका इसेतेमाल करो नहीं तो खाली पड़े हुए सड़ जायेगा.

संघ में बातचीत की यही तमीज सिखाई जाती है जैसा मोदी अपनो आकाओं के साथ करता है. तमीज दहेज में नहीं मिलती दलाली में भी नहीं सीखी जाती है, नहीं तो मोदी की तरह जिंगी भर बदतमीज और जाहिल बने रहोगे.

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