मैंने आज वह वीडियो देखा, एक सज्जन जिन्होने कहा वे घटना स्थल पर थे नहीं, घटना का सिलसिलेवार आंखों देखा वर्णन कर रहे थे. मधुकिश्वर इंडिया टीवी पर जिसे दर्द से बेहाल बता रहीं थी, वह स्वस्त सकुशल और आश्वस्त दिख रही थी. मणिपुर की राजनीति, खासकर मैएती राजनीति और उसपर खुर्शीद की दृष्टिकोण पर विस्तृत व्याख्या के बीच-बीच में बलात्कार की शिकायत कर रहीं थीं. एक अन्य महिला जो खुर्शीद से पहली बार मिल रहीं थी लेकिन उसके चरित्र, मनोविज्ञान और दिनचर्या के बारे में ऐसे बता रहीं थी जैसे अर्से से जानती हों और मधुकिश्वर के बार बार पूंछने पर कि किसने नशे में धुत्त उनकी साथी को रुकने के लिए कहा था, जिस तरह आंखे नीची कर हिचकिचाहट के साथ नाम लिया, साफ लग रहा था कि झूठ बोल रही हैं. आम मामलों में बलात्कारी सबूत नष्ट करता है इस मामले में "बलत्कृत" और उसके साथी सबूत नष्ट करते हैं और बदनामी के डर से पुलिस में नहीं जाते और वीडियो बनाकर घूम घूम कर दिखाते हैं और सोसल मीडिया पर कुप्रचार करते हैं. "बलात्कारी" "बलत्कृत" से बार बार केस करने का आग्रह करता है और नाम सामने आने पर मानि-हानि का दावा करता है. मोदीनामा लिखने वाली मधुकिश्वर और संघी फिक्सन के भांट रजत शर्मा 16 दिसंबर के तुरंत बाद देश में बलात्कार की समस्या से व्यथित होकर खुर्शीद को बलात्कारी घोषित कर देते हैं. यह अलग बात है कि मुज़फ्फर नगर के सामूहिक बलात्कारों पर उनके चैनल या "नारीवाद" का परचम फहराने वाली किश्वर जी का दिल बिल्कुल नहीं पसीजता.यह पूछने पर कि खुर्शीद अगर ड्रिंक नहीं बना रहे थे तो ग्लास में "दवा" किसने मिलाया? अलग अलग लोग अलग अलग व्याख्या दे रहे थे. उपरोक्त महिला ने कहा कि वह 5-6 ड्रिंक नीट पी जाती थी लेकिन वहां पानी मिलाकर 3-4 पीने में ही बेहोश हो गई. एक सज्जन ने बताया कि वे जानते थे कि रम वही पिएगी. इसके जवाब में वे बोले कि खुर्शीद ने पूछा था कि कौन पिएगा क्या पिएगा क्योंकि उनके घर में सिर्फ व्हिस्की थी. एक ने वोद्का बोला उसने रम और एक ने जूस उनका ड्राइवर लेकर आया और "दवा" लगता है बोतल में ही मिला दी गयी थी. य़ानि उनके सामने ही बोतल आई और खुद उन्होने ही खोला और उसमें "दवा" मिली थी. लगता है खुर्शीद का ओल्ड मांक कंपनी और ठेके वाले से सांठ-गां" थी! झूठ भी ऐसा कि साफ पता चल जाय.
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