बजट 2015-16
आओ आओ आओ
सभी लोग आगे आ जाओ
बच्चों आओ बूढ़ों आओ
नवजवान तो आओ आओ
आओ बैठो और सुनो
सुनो सुनो सुनो
अच्छे दिन की
व्यथा सुनो
विकास बजट की कथा सुनो
बेदखली की व्यथा
सुनो
आओ बैठो और सुनो
सुनो सुनो सुनो
सुनो और गुनो
कहा वज़ीर-ए-आजम ने राष्ट्र की तरक्की
किया वज़ीर-ए-खारजा ने इक नूरानी बजट की पेशगी
वाचाल हो गये हैं विकास से बैर रखने वाले
लग जायेंगे जुबां पे उनके मगर ताले
बताते इसे जो
कॉरपोरेटी बजट का सरताज
तो क्या भूखे-नंगे
करेंगे राष्ट्र का विकास?
दिखता नहीं
इन्हें भूमंडलीय पूंजी का संकट
लग जायेगा
विश्व-बंधुत्व पर कलंक एक विकट
है ये निवेश के विकास
का यह जो बजट
बताते हैं ये
इसे मुल्क के साथ छल-कपट
करता नहीं बजट
कटौती में भेद-भाव
कम करता है बजट
शिक्षा का और घटाता है कारपोरेट
करता कटौती
शिक्षा-स्वास्थ्य के मद में
और बढ़ाता दवा
का दाम
विकासशील
राष्ट्र में भूखो-नंगो का क्या काम
बीमारियां कर
देंगीं इन सबका इंतज़ाम
भूखे-नंगों से
मुक्त करना है ग़र आवाम
बहुत ऊंचा रखना
पड़ता है दवाओं का दाम
शिक्षा का बजट
होता नहीं पहले भी बहुत ज्यादा
हो जाते थे तब भी
कुछ घुरहू-रमझू पढ़ने पर आमादा
इस बजट ने किया
है बढ़िया इंतजाम
स्वास्थ्य-शिक्षा
नहीं है सरकार का काम
शिक्षा है
मूल्यवान सामग्री
दाम बिना न
मिलेगी डिग्री
खुली हैं
दुकानें तरह तरह के ज्ञान की
कोचिंग से
विश्वविद्यालय तक के संज्ञान की
होती न अगर
शिक्षा-स्वास्थ्य के बजट में कटौती
कैसे हो पाती रक्षा
बजट में इतनी अधिक बढ़ोत्तरी
सेना है राष्ट्र
की महानता का साश्वत मानदंड
बगल में है
दुश्मन देश पाकिस्तान महा उद्दंड
बेचता है अमरीका
दोनों देशों को हथियार
हो जायगा वरना
वहां का सैन्य उद्योग बेकार
खत्म नहीं हुई
है अभी बजट की पूरी कहानी
मगन हैं मगर
दुनिया के सारे अडानी-अंबानी
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