Friday, July 5, 2019

नहीं होता जीने से अलहदा ज़िंदगी का मकसद

नहीं होता जीने से अलहदा ज़िंदगी का मकसद
मुकम्मल मकसद है जीना एक सार्थक ज़िंदगी
साथ साथ चलते हैं बाकी सहायक मकसद
अनाहूत स्वयंभू परिणामों की तरह 
(ईमिः06.07.2014)

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