सम्मान सदा पारस्परिक होता है। मुझसे जब कोई कहता था के मेरे विद्यार्थी मेरा बहुत सम्मान करते हैं तो मैं कहता कि कौन सा एहसान कर रहे हैं, मैं भी तो उनका सम्मान करता हूं। आज संयोग से 2002, 2006, 2009, 2013 और 2015 में पास होने वाले असम के 5 (3 लड़कियां 2 लड़के)विद्यार्थियों के फोन आए सबकी बातो में संयोग से एक बात common थी "We are very grateful that you treated us so friendly". मैंने सबको एक ही जवाब दिया जो पहले भी देता था। "पहली बात तो यह कि आपने मेरा कोई खेत नहीं काटा है कि unfriendly व्यवहार करूं. दूसरी बात in my own best self interest as you an enjoy any relationship only if it is democratic, at par and transparent. Mutual respect follows automatically." 2002 वाली असम सिविल सर्विस के किसी ऊंचे पद पर है, 2006 वाली लड़की लंदन में रेडक्रॉस में किसी बड़े पद पर है 2009 वाला लड़का इको टूरिज्म का कोई प्रोजेक्ट कर रहा है तथा किसान नेता अखिल गोगोई की पार्टी का कार्यकर्ता है. 2013 वाला, जिसका मैं नाम ही भूल गया था, एक एनजीओ चलाता है और अपने कांग्रेसी पिता की राजनीति में मदद करता है तथा 2015 वाला बालक तेजपुर केंद्रीय विवि से एलएलम कर रहा है तथा ऐग्रोटूरिज्म का कोई प्रोजेक्ट विकसित कर रहा है।
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